🌷नज़र और नजरिए में इतना सा फर्क है कि हम किसी मे कमी देखते हैं तो सामने वाले की सचाई और अच्छा वक्तितव्व दिखाई ही नहीं देता🌷 अगर नज़रिया अच्छाई देखने का हो तो सही और सच्चे मायने में हिम्मत होंसला प्यार , सम्मान एवम विश्वास का का अटूट भवन बनता है तभी जीवन में सच्चे रिश्तों की नीव रखी जा सकती हैं🌷 । कमी तो राह चलते किसी मे भी खोजी जा सकती हैं 🌷असली अपने वो हैं जो एक दुसरे की हिम्मत बन इज्जत मान से हाथ थामे हर परिस्थिति में संभाल जीवन में खुशियों के रंग भर दिया करते हैं 🌷
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